गिरफ्तारी के तुरंत बाद क्यों मिली शालिग्राम को ज़मानत, पढ़िए इस रिपोर्ट में..?

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छतरपुर पुलिस ने गुरुवार को बागेश्वर धामवाले बाबा के भाई शालिग्राम गर्ग को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया. लेकिन फ़िलहाल कोर्ट ने शालिग्राम को जमानत दे दी। जानकारी के अनुसार, पुलिस ने कोर्ट रिमांड की मांग की थी। लेकिन दोनों पक्षों की दलील सुनने के बाद कोर्ट ने जमानत दे दी।

 

क्या था पूरा मामला?

बाबा धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री के भाई का एक वीडियो सेशल मीडिया पर वायरल हुआ था. मामला 11 फरवरी का है जब  महाशिवरात्री के दिन बागेश्वर धाम में 121 गरीब औऱ दलित लड़कियों की शादी कराई जानी थी जिसके लिए बागेश्वर धाम से पीड़ित दलित परिवार को प्रसताव आया था। लेकिन दलित पिता ने जब इस बात से इंकार कर दिया तो सौरभ गर्ग इस बात को लेकर गुस्से में आ गया और फिर 11 फरवरी को नशे में धुत होकर सौरभ गर्ग उर्फ शालिग्राम गर्ग अपने साथियों के साथ दलित की बेटी की शादी में पंहुचा और बारातियों के साथ मारपीट करने लगा. वह गुड़ा गर्दी पर उतर आया औऱ दलित समाज के लोगो को जातिसूचक गालियां देने लगा। जिसके बाद से शालिग्राम गर्ग की गिरफ्तारी की मांगे उठने लगी.

 

 

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बाबा का बयान..

वहीं, बागेश्वर धाम बाबा धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने एक वीडियो ट्वीट करते हुए कहा कि सोशल मीडिया के द्वारा शालिग्राम का विषय हमारे संज्ञान में आया है. देखो हम गलत के साथ नहीं हैं. कानून निष्पक्षता और गहराई से इसकी जांच करे. हम कतई गलत के साथ नहीं हैं. और, हर विषय को हमसे न जोड़ा जाए. हम अपने मार्ग में, सनातन, हिंदुत्व और श्रीबागेश्वर बालाजी की सेवा में अनवरत लगे हुए हैं. इसलिए कृपा करके हर विषय को हमसे न जोड़ा जाए. इस देश में संविधान है और जो करेगा सो भरेगा. हम सत्य के साथ हैं.

 

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भीम आर्मी ने दी आंदोलन की चेतावनी

पुरे मामले को लेकर भीम आर्मी प्रमुख चंद्रशेखर ने प्रसाशन से नाराजगी जाहिर की. उन्होंने कहा कि पुलिस आरोपी शालिग्राम को 48 घंटे में गिरफ्तार करे. यदि गिरफ्तारी नहीं की गई तो वे आंदोलन करेंगे. चंद्रशेखर ने शालिग्राम के खिलाफ की गई एफआईआर पर भी सवाल उठाए और  कहा कि एफआईआर में आरोपी के साथ शामिल अन्य लोगों के नाम शामिल नहीं किए. साथ ही आरोपियों के पास अवैध हथियार भी हैं. उस संबंध में भी पुलिस कुछ करती नहीं दिख रही.

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पुलिस का एक्शन

बमीठा थाना पुलिस ने वायरल वीडियो की पड़ताल कर शालिगराम गर्ग पर मारपीट, धमकाने, जान से मारने की धमकी, संपत्ति को नुकसान पहुंचाने पर धारा 294, 323, 506, 427 और एससी- एसटी एक्ट में मुकदमा दर्ज किया था।

 

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विवेचना का जिम्मा खजुराहो एसडीओपी मनमोहन सिंह बघेल को दिया गया। विवेचना में पुलिस ने धारा 336, 25/27 आर्म्स एक्ट बढ़ाई है। गुरुवार सुबह पुलिस ने शालिगराम और राजाराम तिवारी को गिरफ्तार किया। दोपहर बाद दोनों को छतरपुर के विशेष न्यायालय में पेश किया गया। बचाव पक्ष की ओर से वकील सीएल पटेल, शिव प्रताप सिंह पेश हुए। न्यायालय ने दोनों पक्षों की दलील सुनने के बाद शालिगराम और राजाराम तिवारी को 25-25 हजार रुपये के मुचलके जमा करने पर जमानत दे दी।

 

 

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