तमिलनाडु : जातिवादियों ने पहले जाति पूछी, फिर मारा-पीटा, रात भर बंधक बनाया, मुहँ पर किया पेशाब

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तमिलनाडु के तिरुनेलवेली जिले में इंसानियत को शर्मसार कर देने वाला मामला सामने आया है। जहां दलित समुदाय के दो युवकों को सवर्ण समुदाय के 6 लोगों ने पीटा, निर्वस्त्र किया और उन पर पेशाब कर दिया। पुलिस का कहना है कि मामले में 6 लोगों को गिरफ्तार कर लिया गया है। क्या है पूरा मामला विस्तार से जानिए।

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पुलिस ने घटना के बारे में क्या बताया ?

पुलिस के अनुसार यह घटना 30 अक्टूबर सोमवार की है। पुलिस का कहना है कि यह घटना तब हुई जब दोनों दलित युवक “थमिराबरानी” से स्नान करके वापस लौट रहे थे। उस दौरान आरोपी नदी के पास बैठकर शराब पी रहे थे। जब आरोपियों ने उन्हें देखा तब दोनों दलित युवक को उन्होंने रोक लिया और उनसे उनका मूल स्थान और जाति के बारे में पूछा। इसके बाद आरोपियों ने दोनों को पकड़कर बेरहमी से पीटा।

 

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पुलिस ने यह भी बताया कि जब पीड़ितों ने आरोपियों को यह बताया कि वह दलित समुदाय से है। तो नशे में धुत आरोपियों ने उन्हें पीटना शुरु कर दिया। आरोपियों ने पीड़ितों को निर्वस्त्र कर दिया और उन पर पेशाब भी कर दिया था। घटना के बाद पीड़ित युवकों को तिरुनेलवेली के सरकारी मेडिकल कॉलेज अस्पताल में भर्ती कराया गया।

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पीड़ितों का बयान:

पीड़ितों ने अपने बयान में बताया कि आरोपियों ने उन्हें रातभर अपने पास रोककर रखा। पीड़ितों में से एक ने यह बताया कि उन्हें छोड़ने से पहले आरोपियों ने उनसे 5,000 रुपये, दो मोबाइल फोन और एटीएम कार्ड भी छीन लिए थे। जब आरोपियों ने उन्हें छोड़ दिया तब वह पास में ही अपने रिश्तेदार के घर चले गए थे। वहां जाकर उन्होंने अपने माता पिता से संपर्क किया जिन्होंने उन्हें तिरुनेलवेली मेडिकल कॉलेज अस्पताल में भर्ती कराया।

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आरोपियों पर लगा SC/ST एक्ट:

“न्यूज एजेंसी ANI”  के अनुसार अनुसूचित जाति (SC) और अनुसूचित जनजाति (ST) अधिनियम के तहत पीड़ितों की शिकायत के आधार पर मामला दर्ज करते हुए, थैचनल्लूर पुलिस ने मंगलवार को पोन्नुमनी (25), नल्लामुथु (21), आयिरम (19), रामर (22), शिवा (22), और लक्ष्मणन (22) को गिरफ्तार किया है। सभी पलायमकोट्टई के पास थिरुमलाईकोझुंथुपुरम के रहने वाले हैं।

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दलितों पर कब तक पेशाब किया जाएगा ?

 

दलितों के साथ अक्सर इस तरह की घटनाएं होती रहती हैं। इस तरह के अमानवीय व्यवहार इंसानियत को शर्मसार कर देने वाले हैं। तमिलनाडु की इस घटना से पहले भी दलितों के साथ पेशाब कांड जैसे अपराध सामने आते रहें हैं।

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मध्यप्रदेश का सीधी पेशाब कांड हो या भोपाल का पेशाब कांड, दलितों के प्रति इस   तरह का अभद्र व्यवहार काफी शर्मनाक है। लेकिन जातिवादी मानसिकता रखने वाले लोग दलितों को अपने पैर की जूती समझते हैं। इसलिए यह कहा जाता है जाति कभी नहीं जाती।  बहरहाल इस तरह के अपराध के खिलाफ कानून व्यवस्था और प्रशासन को सख्त रवैया अपनाने की ज़रुरत है।

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