UP: दलित युवकों से मारपीट, दलित समुदाय में आक्रोश, दोषियों को सजा की मांग तेज, 3 आरोपी गिरफ्तार

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UP में दलित युवकों से मारपीट के मामले में पुलिस ने तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है। पीड़ित ने आरोपियों पर जातिसूचक शब्दों और हिंसा का आरोप लगाते हुए एससी/एसटी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज कराया था। घटना के बाद गांव में तनाव बढ़ा, लेकिन पुलिस ने सुरक्षा कड़ी कर स्थिति नियंत्रण में रखने की अपील की है। पीड़ित परिवार ने न्याय की मांग की है।

UP News: भदोही जिले के कोतवाली क्षेत्र के मर्चवार गांव में दलित युवकों से मारपीट का मामला सामने आने के बाद पुलिस ने बड़ी कार्रवाई करते हुए तीन आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। मामला 31 अक्तूबर का है, जब गांव निवासी राज बहादुर पासी अपने कुछ साथियों के साथ असनांव बाजार में खरीदारी के लिए गया था। बाजार में खरीदारी के दौरान चंदन जायसवाल, आशीष जायसवाल और भारत लाल जायसवाल ने कथित तौर पर राज बहादुर और उसके साथियों को जातिसूचक शब्दों से अपमानित करना शुरू कर दिया। इसके बाद विवाद इतना बढ़ गया कि आरोपियों ने गाली-गलौज करते हुए राज बहादुर और उसके दोस्तों पर हमला कर दिया।

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मारपीट के बाद बढ़ा तनाव

मारपीट के दौरान दलित युवकों को गंभीर चोटें आईं, जिसके बाद वे जैसे-तैसे अपनी जान बचाकर वहां से भागे। घटना के बाद पूरे गांव में तनाव की स्थिति उत्पन्न हो गई। राज बहादुर पासी ने एक नवंबर को पुलिस थाने में जाकर घटना की जानकारी दी और आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की। राज बहादुर ने अपनी तहरीर में स्पष्ट किया कि यह घटना जानबूझकर और साजिश के तहत की गई है, ताकि दलित समुदाय को डराया और अपमानित किया जा सके।

एससी/एसटी एक्ट समेत अन्य धाराओं में मामला दर्ज

पुलिस ने राज बहादुर पासी की शिकायत पर एससी/एसटी एक्ट, गाली-गलौज, मारपीट, और धमकी देने की धाराओं में मुकदमा दर्ज किया। मामला दर्ज होने के बाद पुलिस ने आरोपियों की तलाश शुरू की और बुधवार की रात चंदन जायसवाल, आशीष जायसवाल और भारत लाल जायसवाल को गिरफ्तार कर लिया। तीनों आरोपी असनांव बाजार के निवासी हैं और उनकी गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने गांव और बाजार क्षेत्र में अपनी सतर्कता बढ़ा दी है।

गांव में शांति बनाए रखने की कोशिश

इस घटना के बाद मर्चवार गांव और असनांव बाजार में तनाव का माहौल है। दलित समुदाय के लोगों में डर और आक्रोश दोनों देखने को मिल रहा है। पुलिस ने स्थिति को नियंत्रण में रखने के लिए गांव में अतिरिक्त बल तैनात कर दिया है। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि दोषियों को सख्त से सख्त सजा दी जाएगी और मामले की निष्पक्ष जांच की जाएगी।

पीड़ित परिवार की मांग – आरोपियों को कड़ी सजा मिले

पीड़ित राज बहादुर पासी और उनके परिवार ने प्रशासन से न्याय की गुहार लगाई है। उनका कहना है कि इस तरह की घटनाएं समाज में जातिवाद को बढ़ावा देती हैं और दलित समुदाय को कमजोर करने की साजिश होती हैं। राज बहादुर ने आरोप लगाया कि स्थानीय स्तर पर कुछ प्रभावशाली लोग मामले को रफा-दफा करने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन वे न्याय के लिए अंत तक लड़ेंगे।

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पुलिस की अपील – अफवाहों पर ध्यान न दें

पुलिस ने लोगों से अपील की है कि वे शांति बनाए रखें और किसी भी तरह की अफवाहों पर ध्यान न दें। कोतवाल ने कहा कि कानून अपना काम करेगा और किसी निर्दोष को परेशान नहीं किया जाएगा। वहीं, दोषियों को किसी भी सूरत में बख्शा नहीं जाएगा।

इस घटना ने क्षेत्र में जातिगत तनाव और सुरक्षा को लेकर कई सवाल खड़े कर दिए हैं। प्रशासन इस बात की पूरी कोशिश कर रहा है कि मामले को जल्द से जल्द सुलझाया जाए और पीड़ितों को न्याय मिले।

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