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तमिलनाडु : अगर दलित के हाथ से बना खाया तो हमें गांव से बाहर निकाल दिया जाएगा

तमिलनाडु : एक बार फिर तमिलनाडु के एक सरकारी स्कूल में दलित रसोईया के हाथ से बना खाना खाने से बच्चों नें इंकार कर दिया। इतना ही नहीं छात्रों के माता पिता ने भी दलित महिला के हाथ से बना खाना खाने से बच्चों को रोक दिया। बता दें कि 25 अगस्त को तमिलनाडु के मुख्मंत्री एम.के स्टालिन नें प्राथमिक शिक्षा प्राप्त कर रहे बच्चों के लिए सरकारी स्कूल में पौष्टिक नाश्ता उपलब्ध कराने के लिए सरकारी पहल की थी।

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दलित के हाथ से खाना बनने से आपत्ति :

मामला उसिलामपट्टी के एक सरकारी प्राथमि विद्यालय का है जहाँ मुख्यमंत्री नाश्ता योजना के तहत भोजन तैयार करने के लिए दलित महिला मुनियासेल्वी को रसोइया के रूप में नियुक्त किया गया था। लेकिन योजना शुरू होने के कुछ दिनों बाद ही स्कूल के बच्चों ने दलित महिला के हाथ से बना खाना खाने से इंकार कर दिया। बताया ये भी जा रहा है कि छात्रों के माता- पिता दलित रसोईया के हाथों खाना बनाने पर आपत्ति जता रहे हैं।

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दलित महिला ने क्या कहा :

वहीं मीडिया रिपोर्ट्स की माने तो मुनियासेल्वी का कहना है कि छात्र खाने को तैयार हैं लेकिन उनके माता-पिता अनुमति नहीं दे रहे हैं। उन्हें गांव से निकाले जाने का डर है। तो वहीं अधिकारियों ने पुलिस के साथ मिलकर अभिभावकों से मामले को लेकर पूछताछ की है। जानकारी के मुताबिक जिला कलेक्टर ने भी मामले पर संज्ञान लिया है। पिछले कुछ दिनों में राज्य में यह तीसरी ऐसी घटना है।

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हमें गांव से बाहर निकाल दिया जाएगा :

महिला ने आगे कहा , “मैं एक महिला स्वयं सहायता समूह की सदस्य रही हूं वे अब मुझसे परहेज कर रहे हैं। मैंने एक छात्र को यह हुए भी कहते सुना है कि अगर उसने मेरे हाथ का बना खाना खाया तो उसे गांव से बाहर निकाल दिया जाएगा। छात्र खाने के लिए तैयार हैं लेकिन माता-पिता उन्हें अनुमति नहीं दे रहे हैं। ”

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खाने के लिए माता पिता नहीं दे रहे अनुमति :

महिला ने अधिकारियों को यह भी बताया है कि 11 में से नौ छात्रों ने उसके द्वारा तैयार नाश्ता खाने से इनकार कर दिया क्योंकि माता-पिता ने कथित तौर पर उनकी जाति के कारण उन्हें ऐसा करने से मना किया था। महिला ने कहा कि उसने पहले अधिकारियों को इस मुद्दे की सूचना नहीं दी क्योंकि वह छात्रों पर दबाव नहीं डालना चाहती थी। लेकिन जब निगरानी अधिकारियों ने उससे पूछताछ की तो उसने अपनी स्थिति अधिकारियों के बताई।

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