यूपी से के फर्रुखाबाद जिले में दो दलित युवतियों के शव पेड़ से लटके मिलने की घटना ने इलाके में सनसनी फैला दी है। मृतक युवतियों के परिजनों और ग्रामीणों का आरोप है कि यह हत्या का मामला है, जबकि पुलिस ने रेप और हत्या की संभावना से इनकार किया है। बता दें, पुलिस मामले की विस्तृत जांच कर रही है और सच्चाई का पता लगाने के लिए पोस्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार कर रही है।
UP News : उत्तर प्रदेश के फर्रुखाबाद जिले से एक चौंकाने वाली घटना सामने आई है, जहां दो दलित युवतियों के शव पेड़ से लटके मिलने की घटना ने इलाके में सनसनी फैला दी है। ये दोनों युवतियां जन्माष्टमी की रात गांव के मंदिर में झांकी और कार्यक्रम देखने गई थीं, जिसके बाद उनका शव गांव के बाहर पेड़ से लटका हुआ पाया गया। पुलिस ने इस मामले में प्रारंभिक तौर पर इसे आत्महत्या का मामला माना है और घटना स्थल का निरीक्षण किया है। हालांकि, मृतक युवतियों के परिजनों और ग्रामीणों का आरोप है कि यह हत्या का मामला है, जबकि पुलिस ने रेप और हत्या की संभावना से इनकार किया है। बता दें, पुलिस मामले की विस्तृत जांच कर रही है और सच्चाई का पता लगाने के लिए पोस्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार कर रही है।
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हत्या या आत्महत्या
फर्रुखाबाद के एसपी आलोक प्रियदर्शी के अनुसार, कायमगंज के भगौतीपुर गांव में दो दलित लड़कियों के शव पेड़ से लटके हुए पाए गए हैं। प्रारंभिक जांच से यह पता चला है कि दोनों करीबी दोस्त थीं और एक ही दुपट्टे का इस्तेमाल कर उन्होंने फांसी लगाई। पुलिस का मानना है कि यह आत्महत्या का मामला हो सकता है, लेकिन पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आने के बाद ही वास्तविक कारणों की पुष्टि हो पाएगी। वही मौके से एक फोन और सिम कार्ड बरामद किया गया है, जिसे जांच का हिस्सा बनाया गया है। पुलिस घटना की सभी संभावनाओं को ध्यान में रखते हुए जांच कर रही है ।
पिता ने बताया पूरा मामला
मृतक युवती के पिता के अनुसार, उनकी बेटी और उसकी पड़ोसन दोस्त (18 और 15 साल की) जन्माष्टमी की रात गांव के मंदिर में झांकी देखने गई थीं। जब वे रात में वापस नहीं आईं, तो परिवार ने सोचा कि वे गांव में ही किसी रिश्तेदार के घर रुक गई होंगी। लेकिन सुबह जब उन्हें पता चला कि दोनों लड़कियों ने फांसी लगा ली है, तो वे घटनास्थल पर पहुंचे और देखा कि उनकी बेटी और उसकी दोस्त एक ही दुपट्टे से पेड़ पर लटकी हुई हैं।
पिता ने लगाया हत्या का आरोप
युवती के पिता का मानना है कि उनकी बेटियों की हत्या की गई है। घटनास्थल पर मिले मोबाइल फोन और चप्पल इस मामले को और संदिग्ध बना रहे हैं। पुलिस फिलहाल इस मामले की जांच कर रही है, और पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के बाद ही वास्तविक कारणों का पता चल सकेगा। इस त्रासदी ने इलाके में शोक और संदेह की स्थिति पैदा कर दी है, और परिजन न्याय की उम्मीद कर रहे हैं।
घटना पर शुरू हुई सियासी बयानबाजी
फर्रुखाबाद की घटना के बाद सियासी बयानबाजी शुरू हो गई है। विभिन्न राजनीतिक दल और नेता इस गंभीर घटना पर अपनी प्रतिक्रियाएं दे रहे हैं, और सरकार की नीतियों और सुरक्षा व्यवस्थाओं पर सवाल उठा रहे हैं। इस प्रकार की सियासी प्रतिक्रिया अक्सर घटना की गंभीरता और सरकार की जिम्मेदारियों की ओर ध्यान आकर्षित करने के लिए होती है। नेताओं द्वारा की जा रही टिप्पणियां और आलोचनाएं आमतौर सरकार पर दबाव डालने और पीड़ित परिवार को न्याय दिलाने के प्रयास में होती हैं।
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सरकार पर भड़के चंद्रशेखर :
घटना पर सबसे भीम आर्मी चीफ़ और नगीना से सांसद चंद्रशेखर आज़ाद ने प्रतिक्रिया देते हुए यूपी की योगी सरकार पर निशाना साधा और ट्वीट कर कहा, “उत्तर प्रदेश के फर्रुखाबाद के कोतवाली कायमगंज क्षेत्र के भगौतीपुर गांव में दो दलित युवतियों के शव एक ही दुपट्टे से लटके हुए मिलने की घटना अकल्पनीय, असहनीय, अस्वीकार्य हैं। सीएम योगी आदित्यनाथ जी मामले की निष्पक्ष शीघ्र जांच कर सख्त कार्यवाही की जाएं।”
कांग्रेस ने उठाए सवाल
यूपी कांग्रेस ने फर्रुखाबाद की घटना को लेकर प्रदेश सरकार की आलोचना करते हुए कहा है कि यह प्रदेश महिलाओं के लिए “श्मशान” बन गया है। कांग्रेस ने आरोप लगाया कि राज्य में महिलाओं की सुरक्षा की स्थिति बेहद खराब है, यहाँ आज महिलायें सुरक्षित महसूस नहीं करती और उन्होंने सरकार से मांग की है कि महिलाओं के खिलाफ अपराधों को रोकने के लिए ठोस कदम उठाए जाएं। पार्टी ने इस मामले में तत्काल कार्रवाई की जरूरत पर जोर दिया है और कहा है कि सरकार को बेखौफ अपराधियों पर काबू पाना चाहिए।
स्वामी प्रसाद मौर्य ने कहा ‘बंटेंगे तो कटेंगे…
स्वामी प्रसाद मौर्य ने फर्रुखाबाद की घटना पर प्रदेश सरकार की आलोचना की है। उन्होंने घटना की कड़ी निंदा करते हुए दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है। साथ ही मुख्यमंत्री पर तीखा हमला करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री का कहना है कि अगर लोग बंटे हुए रहेंगे तो वे मरेंगे, लेकिन फर्रुखाबाद की घटना में तो लोग एकता के बावजूद मारे जा रहे हैं। मौर्य ने मुख्यमंत्री से सवाल किया कि देखना है कि उनका हृदय पसीजता है या नहीं और क्या पीड़ितों को न्याय मिलता है या नहीं।
अखिलेश यादव ने की जांच की मांग
सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने फर्रुखाबाद की घटना को लेकर तीखी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने इसे एक बेहद संवेदनशील घटना बताते हुए बीजेपी सरकार से तत्काल निष्पक्ष जांच की मांग की है। यादव ने कहा कि हत्या के संदिग्ध मामले में सरकार को अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करनी चाहिए। उन्होंने इस घटना को समाज में भयावह माहौल बनाने वाली और नारी समाज को मानसिक रूप से गहरा आघात पहुँचाने वाली घटना करार दिया। यादव ने महिला सुरक्षा को राजनीति से ऊपर उठाकर गंभीर मुद्दे के रूप में उठाने की आवश्यकता पर जोर दिया।
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