यूपी में फिर एक बार आरक्षण को लेकर राजनीतिक सरगर्मी तेज हो चुकी है। जहाँ एक ओर केंद्र सरकार अपने मंत्रिमंडल में ओबीसी प्रतिनिधित्व की बात कर रही है। वही दूसरी ओर उत्तर प्रदेश के शिक्षक अभ्यर्थीगण योगी सरकार और उनके बेसिक शिक्षा मंत्री पर SC, ST और ओबीसी आरक्षण घोटाले की आरोप लगा रही है। बड़ी संख्या में शिक्षक अभ्यर्थी राजधानी लखनऊ के मान्यवर कांशीराम जी ग्रीन पार्क (इको गार्डन) में ढाई महीनों से प्रदर्शन कर रहे है।
इस मामलें में लोगों का ध्यान चन्द्रशेखर आजाद रावण ने खिंचा। जब वे 69,000 अभ्यर्थी आरक्षण महाघोटाला के खिलाफ चल रहे प्रदर्शन में शिरकत की। वे करीबन 3 दिन प्रदर्शन कर रहे अभ्यर्थियों के साथ प्रदर्शन स्थल इको पार्क में मौजूद रहे और वही रात भी बिताई। प्रदर्शन कर रहे छात्रों का कहना है कि चन्द्रशेखर भैया ने हमारा काफी साथ दिया और इस मुद्दे को राजनीतिक रूप से पुरजोर आवाज में उठाया।
वहाँ मौजूद अभ्यर्थियों ने कहा – भाजपा छोड़कर सारी पार्टी के लोग इस मुद्दे पर हमारा खुला समर्थन कर रही है।यहां तक एनडीए की सहयोगी रीजनल पार्टियां भी पीछे से हमारा समर्थन कर रही है। चन्द्रशेखर आजाद ने जमीन पर आकर हमारा मनोबल बढ़ाया है और इसी तरह आगे भी साथ देने का वादा किया है। हम उनका साथ ताउम्र निभाएंगे।
■ आंदोलन की वर्तमान स्थिति
आज आंदोलन का 76वां दिन है। प्रदर्शन कर रहे छात्रों और अभ्यर्थियों का मनोबल काफ़ी बढ़ा हुआ। वे इको गार्डन के पीपल के पेड़ के नीचे एक तिरपाल बिछाकर योगी सरकार से शांतिपूर्ण तरीके से मुकाबला कर रहे है। हालांकि उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्या के घर के सामने प्रदर्शन करने के वक्त अभ्यर्थियों पर पुलिस ने डंडे खूब बरसायें। इस लाठीचार्ज में कई महिलाओं के हाथ टूटे और कई अभ्यर्थियों के सर भी फूटे। फिर भी वे उत्साह के साथ डटें हुए है।
इस आन्दोलन में कई महिला अभ्यर्थी अपने टूटे हुए हाथ पर लगे प्लास्टर के साथ आती है। उनके दूसरे हाथ में आंदोलन से जुड़े हुए दस्तावेज भी होते है। कुछ महिलाएं अपने बच्चे के साथ धरनास्थल पर प्रतिदिन आती है। वे रोजाना धरनास्थल के रजिस्टर में आंदोलन का हिसाब-किताब , संपर्क नंबर और जरूरी बातें जरूर लिखती है।
स्थानीय मीडिया में से कुछ मीडिया चैनल इस मामलें को लेकर मुखर है , पर कोई सुनवाई होते नहीं दिख रही है। आयदिन पुलिस भी धरनास्थल आकर इस आंदोलन से जुड़ी हर चीज पर नजर बनाए हुए है। ताकि आंदोलन उनके काबू में राह सके ।
■ आंदोलन , चन्द्रशेखर और आगे की रणनीति
धरनास्थल पर बैठे छात्रों ने कहा है कि योगी सरकार को हमनें इस महीनें के 5 तारीख़ तक अल्टीमेटम दिया है। अगर शिक्षक दिवस तक हमारी मांगे नहीं मानी गयी तो हम सड़क और उतरकर महाआंदोलन शुरू करेंगे।जिसकी जिम्मेवारी योगी सरकार की होगी।हम लाठियां ख़ाकर चुप नहीं बैठने वाले है। हमारे सर फोड़े गए है , हमारी अभ्यर्थी बहनों के हाथ तोड़े गए है । हम अब चुप नहीं बैठेंगे। अपना आरक्षण लेकर ही हम मानेंगे , चाहे सरकार हमें जेल भेज दे।
6 सितम्बर को प्रदर्शन कर रहे छात्रों का हुजूम सड़को ओर उतरेगा। चंद्रशेखर रावण भी ट्विटर के माध्यम से आरक्षण घोटालें मामलें पर योगी सरकार को सड़क पर घेरने का ऐलान कर चुकी है। उन्होंने ट्वीट किया है कि 69 हजार शिक्षक भर्ती आरक्षण घोटाला पीड़ित अभ्यर्थी खुद को अकेला न समझें। 06 सितंबर को हम सब आपके समर्थन में लखनऊ पहुंच रहे है। मांगने से भीख मिलती है। अधिकार छीनने पड़ते हैं। हम अपने अधिकार छीन कर लेंगे।
#आरक्षण_बचाने_लखनऊ_चलो
अब आगे देखना बाकी राह गया है कि योगी सरकार 6 सितंबर को आंदोलन के सामने झुकेगी या इस आंदोलन की दशा और दिशा बदलनी पड़ेगी।
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